आगे माइ
आगे माइ जोगिआ हमार जगत सुखदायक दुःख ककरहु नहीं देथि |
एहि जोगिआकें भंग पिया धतूर खोआ धन लेथि |
आगे माइ, कातिक गनपति दुइज़न बालक जग भरि के नहि जान |
तनिक नहि किछु अभरन थिकइन रति एक सों नहि कान |
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